मुंबई, 23 फरवरी (हि.स.)। महाराष्ट्र के खाद्यान्न व आपूर्ति मंत्री छगन भुजबल ने कहा कि अल्पसंख्यक विभाग के मंत्री का इस्तीफा न लिए जाने का निर्णय महाविकास आघाड़ी सरकार के तीनों सहयोगी दलों ने लिया है।
बुधवार शाम को मंत्री भुजबल ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की ओर से उद्धव ठाकरे सरकार के मंत्रियों पर झूठे मामलों में फंसाने का आरोप लगाया जा रहा है। इसलिए भाजपा के विरोध में महाविकास आघाड़ी के तीनों दल साथ मिलकर गुरुवार से जनता के बीच जाएंगे। मौके पर राजस्व मंत्री बालासाहेब थोरात भी उपस्थित थे। भुजबल ने कहा कि बुधवार को तडक़े प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम नवाब मलिक के घर गए थे और छापेमारी की। छापे में कुछ नहीं मिला तो उन्हें जबरन ईडी दफ्तर में लाया गया और 1993 के बम विस्फोट मामले मेंजमीन खरीदने का आरोप लगाकर गिरफ्तार किया और कोर्ट में पेश किया। कोर्ट में वकील अमित देसाई ने ईडी की कार्रवाई को गलत बताया है। जिन नाम को लेकर ईडी ने नवाब मलिक पर आरोप किया है, वे सभी मर चुके हैं। इस मामले में अब 30 साल नवाब मलिक का नाम लिया जा रहा है, उस मामले में कई वर्षों तक जांच हुई कभी भी नवाब मलिक का नाम नहीं आया था। छगन भुजबल ने कहा कि केंद्रीय मंत्री नारायण राणे भी गिरफ्तार किए गए थे, हमने उनका इस्तीफा नहीं मांगा था। उन्होंने कहा कि भाजपा इस तरह झूठे आरोप सिर्फ महाविकास आघाड़ी सरकार को गिराने के लिए कर रही है। इसी वजह से गुरुवार को दक्षिण मुंबई में मंत्रालय के पास राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के पुतले के सामने महाविकास आघाड़ी सरकार के मंत्री व नेता प्रदर्शन करेंगे। इसके बाद शुक्रवार को राज्य में हर तहसील व जिलाधिकारी कार्यालय के सामने धरना प्रदर्शन किया जाएगा।
इससे पहले नवाब मलिक की गिरफ्तारी के बाद महाविकास आघाड़ी सरकार के सहयोगी दलों के नेताओं की बैठक शरद पवार के आवास पर तथा मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के आवास पर हुई। इस बैठक में तीनों दल एकसाथ मिलकर नवाब मलिक का इस्तीफा न लिए जाने का निर्णय लिया गया है।