PWD Scam : ईडी ने त्रिपुरा में पूर्व मंत्री और वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार मामले में जांच शुरू की

अगरतला, 16 फरवरी । प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने त्रिपुरा लोक निर्माण विभाग में भ्रष्टाचार के एक मामले की जांच शुरू कर दी है। त्रिपुरा सरकार ने मामले को ईडी को सौंप दिया है। इस बीच, ईडी ने पूर्व लोक निर्माण मंत्री और मौजूदा विपक्ष के उपनेता बादल चौधरी, पूर्व मुख्य सचिव वाई. पी. सिंह और लोक निर्माण विभाग के पूर्व मुख्य वास्तुकार सुनील भौमिक की संपत्ति की तलाश शुरू कर दी है। उनकी पत्नियों के खिलाफ भी संपत्ति की तलाश जारी है। पहले यह मामला क्राइम ब्रांच के अधीन था। छह के खिलाफ धन शोधन निवारण अधिनियम, 2002 के तहत मामला दर्ज किया गया है। जांच एजेंसी के सूत्रों का दावा है कि जांच अभी शुरुआती चरण में है और किसी भी आरोपी को कोई नोटिस नहीं भेजा गया है।


ईडी के अगरतला उप-क्षेत्रीय कार्यालय के सहायक निदेशक बिकाश फोगट द्वारा हस्ताक्षरित एक पत्र में, भूमि अभिलेख और निपटान अधिकार कार्यालय के प्रमुख और सदर, जीरानिया और बिलोनिया के एसडीएम से उन छह आरोपियों के नाम सरकारी रिकॉर्ड में दर्ज संपत्ति की राशि जानना चाहते है।


पूर्व लोक निर्माण मंत्री बादल चौधरी को इससे पहले भ्रष्टाचार के उस मामले में गिरफ्तार किया जा चुका है। पुलिस ने भ्रष्टाचार के उसी मामले में पूर्व मुख्य सचिव वाई. पी. सिंह और लोक निर्माण विभाग के पूर्व मुख्य बास्तुकार सुनील भौमिक को भी गिरफ्तार किया है। क्राइम ब्रांच उनके खिलाफ 600 करोड़ रुपये के भ्रष्टाचार के मामले की जांच कर रही थी। अब ईडी ने मामले की जांच शुरू कर दी है।


पुलिस ने अभी तक इस मामले में चार्जशीट दाखिल नहीं की है। विकास परियोजनाओं के लिए धन के गबन में विजिलेंस कमिशन की रिपोर्ट के आधार पर मामला दर्ज किया गया था। ईडी ने अब जांच शुरू कर दी है और आरोपी की संपत्ति के बारे में जानना चाहता है।

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