— एकांतवास में इलाज के साथ सभी जरूरी सावधानी बरतने और कोविड प्रोटोकाल के पालन का संदेश
वाराणसी, 21 अप्रैल (हि.स.)। कोरोना संक्रमण से जूझ रहे वरिष्ठ पत्रकार श्रीराम जायसवाल जरा भी हिम्मत नहीं हारे है। वैश्विक महामारी को अपने मजबूत आत्मबल और संयम से मात देने के लिए संकल्पित श्रीराम गाजीपुर जखनियां स्थित अपने घर में खुद को एकांतवास में रख इलाज के साथ सभी जरूरी सावधानी बरत रहे है। तबियत बिगड़ने के बाद थोड़ा सहज होने पर खुद ही पत्नी और बच्चों के साथ शुभचिंतकों का भी हौसला बढ़ाते है। खुद फोन कर कहते है ‘ठीक है’।
सामाजिक कार्यो में भी बढ़-चढ़कर भागीदारी करने वाले पत्रकार श्रीराम जायसवाल ने बुधवार को खास बातचीत में बताया कि उनका इलाज कैसे चल रहा है,किस तरह की शारीरिक समस्या से जूझना पड़ रहा है। इस दौरान वे कैसे एकांतवास में रह रहे है। उन्होंने बताया कि 13 अप्रैल को कोरोना संक्रमित होने की जानकारी पर हिम्मत नहीं हारे है। कोरोना ने एक प्रकार का नया अनुभव और एहसास भी दिया है।
उन्होंने कहा कि कोरोना से ज्यादा डरने और घबराने की आवश्यक नही है। शुरूआती लक्षण से ही सावधानी बरत अपने स्वास्थ्य और सफाई का खास ध्यान देना है। इसमें किसी प्रकार की लापरवाही नहीं बरतने की जरूरत है। संक्रमित होने पर परिवार और दूसरों को भी बचाएं। जहां तक हो अपने घर में रहें, परिवार के सदस्यों को भी घर पर ही रहने की सलाह दें। मॉस्क का इस्तेमाल करने के साथ घर में भी दो गज की दूरी जरूरी है। होम आइसोलेशन में हमेशा चिकित्सक के सम्पर्क में रह सलाह लेते रहे।
उन्होंने कहा कि दिनरात व्यस्त जीवन में बीमारी के कारण थोड़ा खालीपन सा भी लग रहा है। परिजनों और दोस्तों के फोन और उत्साहवर्धन से इससे उबरने की पूरी कोशिश कर रहा हूं। एकांतवास में इलाज के दौरान चिकित्सकों और स्वास्थ्य कर्मियों का भी सहयोग मिल रहा है। मोबाइल फोन से दवा की जानकारी मिलने पर बाजार से भी मंगवा ले रहा हूं। समय से खानपान, योग, दवा, भाप, गरारा करने के साथ गरम पानी, आर्युवेदिक काढ़ा का इस्तेमाल कर रहा हूं।