-पूर्ण चंद्र जमातिया मुख्य कार्यकारी सदस्य चुने गए
अगरतला, 19 अप्रैल (हि.स.)। त्रिपुरा में एडीसी प्रमुख के रूप में तिप्रा मोथा सुप्रीमो प्रद्युत किशोर देववर्मन ने पद स्वीकार नहीं किया। पूर्ण चंद्र जमातिया को स्वशासित जिला परिषद का नेता चुना गया है। मंगलवार को उन्हें मुख्य कार्यकारी सदस्य (सीईएम) के रूप में शपथ दिलाई जाएगी। अन्य कार्यकारी सदस्य भी इस मौके पर शपथ ग्रहण करेंगे0। आईएनपीटी के महासचिव जगदीश देववर्मा ने सोमवार को अध्यक्ष के रूप में शपथ ली। आज ही तिप्रा मोथा के कुल 18 निर्वाचित प्रतिनिधियों ने शपथ ली। हालांकि, भाजपा ने चुनाव के बाद हिंसा के विरोध में शपथ ग्रहण समारोह में हिस्सा नहीं लिया। नई परिषद में भाजपा के 09 सदस्य विजयी हुए हैं।
एडीसी चुनावों की शुरुआत के दिनों से मुख्य कार्यकारी सदस्य के तौर पर तिप्रा मोथा सुप्रिमो प्रद्युत प्रमुख दावेदार थे। यहां तक कि जिस दिन चुनाव परिणाम घोषित किए गए थे उस दिन भी उन्होंने स्पष्ट कर दिया था कि उन्हें नहीं लगता कि मुख्य कार्यकारी सदस्य उनके अलावा कोई और है। लेकिन अब उन्होंने वह जिम्मेदारी नहीं ली है। इसकी बजाय वे प्रशासनिक सुधार समिति के प्रमुख के रूप में काम करेंगे। उन्होंने दावा किया कि आईएनपीटी सुप्रीमो विजय कुमार रंग्खाल समिति में होंगे।
त्रिपुरा जनजातीय क्षेत्र स्वशासित जिला परिषद के नवनिर्वाचित सदस्यों को सोमवार को शपथ दिलाई गई। प्रशासक जीके राव ने त्रिपुरा के राज्यपाल के प्रतिनिधि के रूप में 18 सदस्यों को पद की शपथ दिलाई। राज्यपाल ने अनंत देववर्मा को अंतरिम अध्यक्ष नियुक्त किया। उन्होंने अध्यक्ष चयन प्रक्रिया का प्रबंधन किया है। इस मौके पर जिला परिषद सदस्य रवीन्द्र देववर्मा ने जगदीश देववर्मा का नाम अध्यक्ष के तौर पर प्रस्तावित किया था और चित्तरंजन देववर्मा ने उस प्रस्ताव का समर्थन किया। परिषद में कोई विपक्ष नहीं था। इसलिए, अध्यक्ष पद के लिए किसी अन्य के नाम का प्रस्ताव नहीं किया गया था। जगदीश देववर्मा को निर्विरोध अध्यक्ष चुना गया।
अध्यक्ष के रूप में कार्यभार संभालने के बाद जगदीश ने मुख्य कार्यकारी सदस्य के पद के लिए नेता के चुनाव का आह्वान किया। अनिमेष देववर्मा ने पूर्ण चंद्र जमातिया का नाम मुख्य कार्यकारी सदस्य के तौर पर प्रस्तावित किया और तिप्रा मोथा के प्रमुख प्रद्युत किशोर देववर्मा ने उस प्रस्ताव का समर्थन किया। मंगलवार को मुख्य कार्यकारी सदस्य के रूप में पूर्ण चंद्र जमातिया और अन्य कार्यकारी सदस्य शपथ ग्रहण करें। उसके बाद विभाग आवंटित किये जाएंगे।
इस मौके पर पूर्ण चंद्र जमातिया ने त्रिपुरा के लोगों का धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा, “मुझे जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी सदस्य के रूप में चुनकर बड़ी जिम्मेदारी दी गई है।” उन्होंने कहा मैं पूरी निष्ठा, ईमानदारी और एकाग्रता के साथ इस जिम्मेदारी को निभाने का प्रयास करूंगा। उन्होंने उम्मीद जताई कि पारदर्शी और भ्रष्टाचार मुक्त परिषद बनाने के उद्देश्य से एडीसी क्षेत्र के लोगों को विकास का अनुभव होगा। इसे स्पष्ट रूप से कहने के लिए, एडीसी में विकास भ्रष्टाचार के कारण अधुरा है। उन्होंने कहा कि लोगों को सुशासन देना हमारा मुख्य और एकमात्र उद्देश्य होगा।
इस बीच, प्रद्युत किशोर देववर्मन ने दावा किया है कि यह पूर्ण चंद्र जमातिया को एडीसी के मुख्य कार्यकारी सदस्य के रूप में चुनने के लिए पार्टी का निर्णय था। उनके शब्दों में, हम एक व्यक्ति, एक पद के नीति में विश्वास करते हैं। इसलिए, मुझे लगा कि मुख्य कार्यकारी सदस्य होने के बजाय, प्रशासनिक सुधार समिति के प्रमुख के रूप में कार्यभार संभालना चाहिए। उनका दावा है कि पूर्ण चंद्र जमातिया एक शिक्षित, ईमानदार, सक्षम, जीवंत और पारदर्शी नागरिक हैं। उन्होंने जीवन में कई त्याग किए हैं। इसलिए, मेरा मानना है कि एडीसी के प्रमुख की जिम्मेदारी एक योग्य व्यक्ति को सौंपी जा रही है।
उन्होंने कहा की, हम त्रिपुरा सरकार के साथ एकजुट होकर एडीसी क्षेत्र का विकास करना चाहते हैं। उन्होंने कहा, मैंने एक पारदर्शी प्रशासन बनाने का लक्ष्य रखा है। उन्होंने साफ लाब्जो में कहा, ग्रेटर तिप्रालैंड हमारा एकमात्र लक्ष्य है। हम उस लक्ष्य पर दृढ़ हैं।