07HNAT28 अध्यक्ष बनने पर कांग्रेस पार्टी में 50 वर्ष से कम के लोगों को देंगे आरक्षण: खड़गे
– साबरमती आश्रम से मल्लिकार्जुन खड़गे ने शुरू किया गुजरात में अपना चुनाव प्रचार
– कांग्रेस कार्यकर्ताओं को मैं की बजाय हमलोग की भावना से कार्य करने की दी सलाह
अहमदाबाद, 7 अक्टूबर (हि.स.)। कांग्रेस पार्टी के चुनाव में राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के उम्मीदवार मल्लिकार्जुन खड़गे ने शुक्रवार को अहमदाबाद में कांग्रेस नेताओं से मुलाकात की और उनसे चुनाव में अपने लिए समर्थन मांगा। खड़गे ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को मैं के बजाय हमलोग की भावना से काम करने की सलाह दी।
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के चुनाव प्रचार के लिए अहमदाबाद पहुंचे मल्लिकार्जुन खड़गे ने गुजरात कांग्रेस पदाधिकारियों से समर्थन मांगते हुए कहा कि घर का चुनाव है, इसलिए वे यहां समर्थन मांगने आए हैं। खड़गे ने कहा कि चुनाव और संगठन में वे 50 वर्ष से कम उम्र के लोगों को 50 फीसदी आरक्षण देने का प्रयत्न करेंगे। उन्होंने कहा कि जहां चुनाव होगा, वहां सभी को एकसूत्र में बांधे रखने की कोशिश करूंगा। कांग्रेस नेता ने गांधी, नेहरू की विचारधार और सरदार की एकता की आवाज को आगे बढ़ाने की बात ही।
कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने अहमदाबाद में पत्रकारों से भी बातचीत की। उन्होंने कहा कि वे चुनाव प्रचार की शुरुआत अहमदाबाद से कर रहे हैं। रिमोट कंट्रोल अध्यक्ष के मुद्दे पर उन्होंने भाजपा पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि कई लोग गलत प्रचार कर रहे हैं कि रिमोट कंट्रोल प्रमुख है, परंतु कांग्रेस में रिमोट कंट्रोल की कोई व्यवस्था नहीं है। कांग्रेस में सभी मिलकर निर्णय करते हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा में प्रधानमंत्री के पसंद के अनुसार राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया जाता है। खड़गे ने कहा कि सोनिया गांधी के पास प्रधानमंत्री बनने का अवसर था, लेकिन उन्होंने प्रधानमंत्री पद के लिए अर्थशास्त्री डॉ मनमोहन सिंह का चयन किया।
कांग्रेस नेता खड़गे ने अपने अहमदाबाद प्रवास के दौरान साबरमती स्थित गांधी आश्रम पहुंचे। उन्होंने कहा कि वे गांधी आश्रम से आशीर्वाद लेकर प्रचार की शुरुआत कर रहे हैं। सरदार पटेल और नेहरू ने जिस क्षेत्र को 1948 में आजाद कराया था, वे उस हैदराबाद से आते हैं। उन्होंने कहा कि घर के चुनाव में वे सभी का समर्थन मांगने आए हैं। खड़गे ने कहा कि वे खुद चुनाव नहीं लड़ रहे हैं, किन्तु बड़े नेताओं और कांग्रेस प्रतिनिधियों ने गांधी परिवार के चुनाव लड़ऩे से मनाही के बाद उन्हें चुनाव लड़ऩे का आदेश दिया है।