काबुल, 25 अप्रैल (हि.स.)। पाकिस्तान के भीतर लगातार हो रहे आतंकी हमलों के बावजूद तालिबान नेतृत्व ने आतंकी समूह को समाप्त करने पर सहमति नहीं जताई है। पाकिस्तान के लगातार दबाव बनाने के बाद इतना जरूर हुआ है कि इन आतंकी संगठनों की गतिविधियों को पाकिस्तान सीमा से दूर करने की शुरुआत कर दी गयी है।
पाकिस्तान में लगातार आतंकी हमलों के लिए तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान जैसे अफगानिस्तान स्थित कई आतंकी संगठनों को जिम्मेदार माना जा रहा है। इनमें से तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान तो प्रतिबंधित आतंकी संगठन है। पाकिस्तान लगातार इन संगठनों पर पाबंदी लगाने के साथ इन्हें समाप्त करने का दबाव तालिबान नेतृत्व पर बना रहा है। इन पर कार्रवाई के लिए पिछले दिनों पाकिस्तान ने एयर स्ट्राइक कर अफगानिस्तान में आतंकी अड्डों पर हमला भी किया था। इसके बावजूद तालिबान इन आतंकी संगठनों को समाप्त करने के लिए तैयार नहीं है।
तालिबान का मानना है कि इन संगठनों ने अमेरिकी नेतृत्व वाले विदेशी सुरक्षा बलों से लड़ाई में तालिबान की मदद की थी, इसलिए उन्हें समाप्त नहीं किया जा सकता। हाल ही में हुईं सीमा पार हमले की घटनाओं के बाद पाकिस्तान ने तालिबान को कड़ा संदेश दिया है। पाकिस्तान ने स्पष्ट शब्दों में तालिबान से कहा है कि वह या तो इन आतंकवादी संगठनों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करे या फिर इसके परिणाम भुगतने के लिए तैयार रहे।
इसके बाद अफगानिस्तान में तालिबान के नेतृत्व वाली सरकार ने आतंकी संगठनों को पाकिस्तान के साथ सीमा वाले क्षेत्रों से दूर स्थानांतरित करने के लिए कदम उठाने की शुरुआत कर दी है। वैसे भी पाकिस्तान वर्ष 2017 से अफगानिस्तान के साथ 2600 किलोमीटर लंबी सीमा पर बाड़ लगाने का काम कर रहा है।