अगरतला, 27 नवम्बर (हि.स.)। पाकिस्तान से जुड़े संगठनों ने त्रिपुरा में फर्जी तस्वीरें और वीडियो फैलाकर पूरे राज्य का माहौल खराब करते हुए राज्य को बदनाम करने की साजिश रची है। शनिवार को त्रिपुरा के पुलिस महानिदेशक वीएस यादव ने यह दावा किया है। उन्होंने दावा करते हुए कहा कि बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमले के बाद, त्रिपुरा में विरोध के कारण किसी भी प्रकार की स्थिति नहीं बिगड़ी थी, हालांकि विरोध प्रदर्शनों को लेकर दुनिया भर में इसको मनगढ़ंत तरीके से प्रचारित किया गया।
उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर फर्जी खबरें फैलाए जाने के चलते त्रिपुरा पूरे देश ही नहीं विश्व में बदनाम हुआ है। इतना ही नहीं, त्रिपुरा में भी कुछ अशांति हुई। इसलिए विभिन्न धाराओं के तहत मामलों के अलावा यूएपीए की धारा के तहत भी मामला दर्ज किया गया है।
उन्होंने दावा किया कि त्रिपुरा में हर जगह स्थिति सामान्य है लेकिन चारों तरफ झठी खबरें फैल गई हैं। मस्जिद में तोड़फोड़ और आगजनी की नकली तस्वीरें और वीडियो प्रसारित किए गए हैं। उन्होंने कहा कि जांच से पता चला है कि वे सभी फर्जी तस्वीरें और वीडियो फैलाने में शामिल संगठनों का संबंध पाकिस्तान से है।
त्रिपुुरा के डीजीपी के इस खुलासे से यह स्पष्ट हो गया है कि पाकिस्तान अपनी आतंकी साजिश में नाकाम होने के बाद अपना फोकस जम्मू कश्मीर, पंजाब समेत अन्य सीमावर्ती राज्यों को छोड़ पूर्वोत्तर की ओर किया है। त्रिपुरा से पहले असम में भी कुछ इसी तरह की घटना अवैध अतिक्रमण को हटाने के दौरान घटी थी। तब बाद में स्पष्ट हुआ था कि घटना को लेकर साजिश रची गयी थी। ऐसे में अगर इन घटनाओं की भी जांच सही तरीके से की जाएगी तो उसमें भी पाकिस्तान के निश्चित तौर पर हाथ होने के प्रमाण मिलेंगे क्योंकि असम की घटना को भी पाकिस्तान की ओर से काफी प्रचारित किया गया था।