ताइपे, 16 जून (हि.स.)। चीन ने एक बार फिर से अंतरराष्ट्रीय सीमाओं का उल्लंघन करते हुए पड़ोसी देश ताइवान के एयर स्पेस में अपने 28 लड़ाकू विमानों की घुसपैठ कराई। ये लड़ाकू विमान थोड़ी देर चक्कर लगाने के बाद वापस चले गए। ताइवान ने चीन के घुसपैठ का विरोध किया है। ताइवान के रक्षा मंत्रालय ने दावा किया है कि चीन ने मंगलवार को स्वशासित द्वीप ताइवान की तरफ 28 लड़ाकू विमान भेजे।
मंत्रालय ने बताया कि पिछले साल से चीन के लड़ाकू विमान लगभग रोजाना ताइवान की तरफ उड़ान भर रहे हैं। इसी क्रम में मंगलवार को अब तक की सबसे अधिक संख्या में लड़ाकू विमानों ने द्वीप की तरफ उड़ान भरी।
रक्षा मंत्रालय ने कहा कि ताइवान की वायु सेना ने तत्काल प्रतिक्रिया देते हुए अपने लड़ाकू वायु दस्ते को तैनात किया और अपनी वायु रक्षा प्रणाली के जरिए द्वीप के दक्षिण-पश्चिम भाग में निगरानी बढ़ाई। चीन की ओर से ताइवान की तरफ आए विमानों में जे-16 और जे-11 लड़ाकू विमान शामिल रहे।
वहीं, जी-7 समूह देशों के नेताओं ने रविवार को बयान जारी कर ताइवान जलडमरूमध्य मुद्दे को शांतिपूर्व सुलझाने का आह्वान किया था, जिसके बाद चीन ने अपनी शक्ति का प्रदर्शन किया है।
चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियान ने मंगलवार को कहा कि जी-7 समूह जानबूझकर चीन के अंदरूनी मामलों में हस्तक्षेप कर रहा है।
बतादें कि चीन पहले भी ताइवान की सीमा में इस तरह से घुसपैठ करता रहा है। चीन कहता आया है कि ऐसा करना देश की अखंडता को बचाने के लिए जरुरी है। चीन अपने वन चाइना पॉलिसी के तहत ताइवान को बीजिंग का हिस्सा मानता है। इसी साल 12 अप्रैल को चीन ने 25 एयरक्राफ्ट ताइवान के वायु क्षेत्र में भेजे थे।