बांग्लादेश में, सुप्रीम कोर्ट ने जमात-ए-इस्लामी नेता एटीएम अजहरुल इस्लाम को 1971 के मुक्ति संग्राम के दौरान मानवता के खिलाफ अपराधों के एक मामले में आज बरी कर दिया

बांग्लादेश में, सुप्रीम कोर्ट ने जमात-ए-इस्लामी नेता एटीएम अजहरुल इस्लाम को 1971 के मुक्ति संग्राम के दौरान मानवता के खिलाफ अपराधों के एक मामले में आज बरी कर दिया। मुख्य न्यायाधीश सैयद रेफात अहमद के नेतृत्व वाली सात सदस्यीय पीठ ने यह आदेश दिया।

एटीएम अजहरुल के खिलाफ नौ आरोप लगाए गए थे। अजहरुल के खिलाफ दायर आरोप पत्र में उसे मुक्ति संग्राम के दौरान बांग्लादेश के रंगपुर क्षेत्र में 1,256 लोगों की हत्या, 17 का अपहरण करने और 13 महिलाओं के साथ बलात्कार का जिम्‍मेदार ठहराया गया था। इसके अलावा, उस पर नागरिकों को प्रताड़ित करने, सैकड़ों घरों में आग लगाने और कई अन्‍य तरह के अत्याचार करने का आरोप भी लगाया गया था। अंतर्राष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण ने अजहरुल को 30 दिसंबर, 2014 को नौ में से पांच आरोपों में मौत की सजा सुनाई थी। 28 जनवरी, 2015 को उसने न्‍यायालय में याचिका दायर कर खुद को निर्दोष बताया था। 19 जुलाई, 2020 को उसने पुनर्विचार याचिका दायर की थी।