सांसद सुप्रिया सुले के नेतृत्‍व वाले सर्वदलीय प्रतिन‍िधिमंडल ने कतर की अपनी आधिकारिक यात्रा सम्‍पन्‍न की

सांसद सुप्रिया सुले के नेतृत्‍व वाले सर्वदलीय प्रतिन‍िधिमंडल ने कतर की अपनी आधिकारिक यात्रा सम्‍पन्‍न की। यह आधिकारिक यात्रा पहलगाम में 22 अप्रैल के आतंकी हमले और उसके बाद ऑपरेशन सिंदूर के रूप में भारत की कार्रवाई के परिदृश्‍य में इस प्रतिनिधिमंडल की चार देशों की यात्रा के पहले चरण को दर्शाती है।

दो दिन की अपनी यात्रा के दौरान इस प्रतिनिधिमंडल ने डॉक्‍टर मोहम्‍मद बिन अब्‍दुल्‍लाजीज बिन सालेह अल खुलैफी, विदेश मंत्री शेख अब्‍दुल्‍लाजीज बिन फैसल बिन मोहम्‍मद अल थानी, गृहमंत्री और शूरा परिषद के उपाध्‍यक्ष डॉक्‍टर हमदा बिन हसन अल सुलैती सहित कतर के वरिष्‍ठ अधिकारियों के साथ उच्‍चस्‍तरीय चर्चा की। प्रतिनिधिमंडल ने वैश्विक मामलों की पश्चिम एशिया परिषद के थिंक टैंक और कतर के शैक्षणिक समुदाय के सदस्‍यों के साथ भी चर्चा की। प्रतिनिधिमंडल ने कतर के अग्रणी दैनिक अल शर्क और पेनिनसुला के पत्रकारों के साथ बातचीत की और भारतीय समुदाय के सदस्‍यों को संबोधित किया। अपनी बैठक में भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने सीमापार आतंकवाद को कतई बर्दाश्‍त नहीं करने की भारत की न‍ीति से वहां उपस्थित गणमान्‍य व्‍यक्तियों को अवगत कराया। प्रतिनिधिमंडल ने पहलगाम हमले के बाद हाल के घटनाक्रमों पर भी जानकारी दी। प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर नपी तुली, लक्षित और सटीक कार्रवाई था। यह कार्रवाई तनाव को बढाये बिना आतंकवाद से निपटने में भारत के दृढ संकल्‍प को दर्शाती है। प्रतिनिधिमंडल ने सीमापार आतंकी ढांचे को ध्‍वस्‍त करने की आवश्‍यकता की भी बात की। प्रतिनिधिमंडल ने आतंकी गुटों और उनके समर्थकों के बीच भेदभाव नहीं करने की सलाह दी। कतर के अधिकारियों ने आतंकवाद के प्रति अपने जीरो टॉलरेंस के रवैये को दोहराया। उन्‍होंने पहलगाम हमले की कडी निंदा की। भारतीय पक्ष ने कतर के समर्थन कर स्‍वागत किया। उन्‍होंने कतर के विदेश मंत्रालय द्वारा इस हमले को लेकर 23 अप्रैल को जारी आधिकारिक बयान के प्रति आभार व्‍यक्‍त किया। यह यात्रा हाल ही में हुए उच्च स्तरीय आदान-प्रदानों के बाद हो रही है। इसमें कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल-थानी और भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी के बीच 6 मई को हुई टेलीफोन वार्ता भी शामिल है। इसके अलावा कतर के प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री शेख मोहम्‍मद बिन जासिम अल-थानी ने सात मई को भारत के विदेश मंत्री डॉक्‍टर सुब्रह्मण्‍यम जयशंकर से बातचीत की। दोहा में संवाददाताओं से बातचीत में प्रतिनिधिमंडल ने अपनी बैठक के निष्‍कर्षों पर पत्रकारों को जानकारी दी। उन्‍होंने सीमा सुरक्षा और हाल के घटनाक्रमों में राजनयिक निहितार्थ से संबंधित प्रश्‍नों का जवाब दिया। भारतीय मूल के लोगों को संबोधित करते हुए प्रतिनिधिमंडल के सदस्‍यों ने सहिष्‍णुता, बहुलवाद और एकता के मूल्‍यों को कायम रखने तथा विभाजनकारी गतिविधियों का विरोध करने के प्रति समुदाय के प्रयासों की सराहना की। सुश्री सुप्रिया सुले के अलावा, प्रतिनिधिमंडल में सांसद राजीव प्रताप रूडी, विक्रमजीत सिंह साहनी, मनीष तिवारी, अनुराग सिंह ठाकुर और लवू श्री कृष्ण देवरायालु के साथ पूर्व वाणिज्य और उद्योग मंत्री आनंद शर्मा, पूर्व विदेश राज्य मंत्री वी. मुरलीधरन और संयुक्त राष्ट्र में भारत के पूर्व स्थायी प्रतिनिधि राजदूत सैयद अकबरुद्दीन शामिल हैं। यह प्रतिनिधिमंडल अपनी यात्रा के दूसरे चरण में आज दक्षिण अफ्रीका के लिये रवाना होगा।