ट्राई ने मैसेजिंग सेवाओं के दुरुपयोग पर कसा शिकंजा, एक्सेस सेवा प्रदाताओं को जारी किए निर्देश

नई दिल्‍ली, 20 अगस्‍त (हि.स.)। भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) ने मंगलवार को मैसेजिंग सेवाओं के दुरुपयोग को रोकने के लिए एक्सेस सेवा प्रदाताओं को दिशा-निर्देश जारी किए हैं। ट्राई का यह कदम इस लिहाज से महत्वपूर्ण है कि नियामक ने दूरसंचार ग्राहकों को प्रचार के लिए कॉल और संदेश भेजने वाले अनधिकृत टेलीमार्केटिंग कंपनियों पर नकेल कसने की दिशा में पहल की है।

संचार मंत्रालय ने जारी एक बयान में कहा कि ट्राई ने बार-बार कॉल कर परेशान करने वाले टेलीमार्केटर पर अपना रुख सख्त करते हुए दूरसंचार कंपनियों को मैसेजिंग सेवाओं का दुरुपयोग रोकने और उपभोक्ताओं को फर्जीवाड़े से बचाने के लिए विशेष उपाय करने का निर्देश दिया है। ट्राई ने संदेश सेवाओं का दुरुपयोग रोकने और उपभोक्ताओं को धोखाधड़ी के व्यवहार से बचाने के लिए उपायों को लागू करने के निर्देश जारी किए हैं।

ट्राई ने दूरसंचार कंपनियों को 140 श्रृंखला से शुरू होने वाली टेलीमार्केटिंग कॉल को 30 सितंबर, 2024 तक ऑनलाइन डीएलटी मंच पर ले जाने का निर्देश दिया है, ताकि उनपर नजर रखी जा सके। इसके साथ ही प्रचार सामग्री के लिए निर्धारित ढांचे के दुरुपयोग को रोकने के लिए ट्राई ने दंडात्मक प्रावधान भी किए हैं। दूरसंचार नियामक के मुताबिक गलत श्रेणी के तहत पंजीकृत सामग्री को काली सूची में डाला जाएगा, और बार-बार उल्लंघन पर प्रेषक की सेवाओं को एक महीने के लिए निलंबित कर दिया जाएगा।

मंत्रालय के मुताबिक दूरसंचार नियामक ट्राई ने एक सितंबर से सभी दूरसंचार कंपनियों को यूआरएल, ओटीटी लिंक या उन कॉल बैक नंबर वाले संदेशों के प्रसारण से रोकने का निर्देश जारी किया है, जिन्हें प्रेषकों ने अधिकृत नहीं किया गया है।

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