पुनर नीट परीक्षा से अरुणाचल को छूट देने की मांग

इटानगर, 01 जुलाई (हि.स.)। अरुणाचल प्रदेश से राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (एनईईटी) में उत्तीर्ण अभ्यर्थियों के परिजनों के समूह ने राज्य सरकार से अरुणाचल प्रदेश में पुनर एनईईटी-2024 परीक्षा से छूट के लिए केंद्र सरकार और भारत के सर्वोच्च न्यायालय से सिफारिश करने की अपील की।

आज यहां अरुणाचल प्रेस क्लब में मीडियाकर्मियों को संबोधित करते हुए एनईईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों के परिजनों के समूह के अध्यक्ष जिक्के तानिया ने राज्य सरकार से इस मुद्दे पर 8 तारीख को एनआईईटी-2024 पेपर लीक मामले के संबंध में होने वाली सुनवाई से पहले भारत सरकार और भारत के सर्वोच्च न्यायालय से आवश्यक कार्रवाई करने की अपील की।

उन्होंने कहा कि हम अरुणाचल प्रदेश में पुनः एनआईईटी परीक्षा का कड़ा विरोध करते हैं, क्योंकि इस वर्ष स्नातक छात्रों के लिए एनआईईटी 2024 परीक्षा 5 मई, 2024 को हमारे राज्य के सभी 4 केंद्रों में स्वतंत्र और निष्पक्ष तरीके से आयोजित की गई थी।

जिसमें अरुणाचल प्रदेश में 2570 छात्रों ने क्वालिफाई किया है। राज्य में 4998 अभ्यर्थी परीक्षा में शामिल हुए थे और लगभग 500 छात्र एनईईटी में सफल हुए हैं। अरुणाचल प्रदेश में ग्रेस मार्क और पेपर लीक मामले में कोई अनियमितता नहीं हुई है।

उन्होंने कहा, इसलिए हम दूसरों की गलतियों के कराण अरुणाचल प्रदेश के निर्दोष छात्रों को दंडित या परेशान नहीं कर सकते। हमें यह जानकर दुख हुआ कि भारत में पांच राज्यों के छह परीक्षा केंद्रों पर ग्रेस मार्किंग, पेपर लीक जैसी अनियमितताओं का आरोप लगाया गया था और हम पेपर लीक मामले के अपराधियों को कड़ी सजा देने की मांग करते हैं।

उन्होंने कहा कि हम सीबीआई जांच का स्वागत करते हैं और दोषियों को कड़ी और निवारक सजा देने की अपील करते हैं। अरुणाचल के बेटे-बेटियों ने ईमानदारी से नीट-2024 की परीक्षा दी है और कई ने अपनी कड़ी मेहनत से अच्छा रैंक हासिल किया है और कई छात्रों ने दूसरे और तीसरे प्रयास में अच्छा रैंक हासिल किया है।

उन्होंने कहा कि दूसरों गलतियों के कारण निर्दोष मेधावी छात्रों की मेहनत व्यर्थ नहीं जानी चाहिए। इसलिए हमने राज्य सरकार से इस मामले में हस्तक्षेप करने और अरुणाचल प्रदेश राज्य पर विचार करने के लिए केन्द्र सरकार तक इस मांग को पहुंचाने का अनुरोध किया है।

जिक्के तानिया ने कहा कि इस संबंध में हमने मुख्यमंत्री, राज्यपाल और राज्य के शिक्षा मंत्री को ज्ञापन सौंपा है।

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