नई दिल्ली 27 अक्टूबर: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि सरकार भारत को 6-जी प्रौद्योगिकी मे अग्रणी बनाने का प्रयास कर रही है। आज नई दिल्ली के भारत मंडपम में भारतीय मोबाइल कांग्रेस की सातवीं बैठक का शुभारंभ करते हुए श्री मोदी ने कहा कि सरकार प्रत्येक नागरिक तक 5-जी कनेक्टिीविटी पहुंचाने का प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि इसके लिए चार लाख 5-जी केन्द्र बनाए गए हैं।
ये केन्द्र 97 प्रतिशत शहरों को और 80 प्रतिशत से अधिक आबादी को कवर करते हैं। उन्होंने कहा कि मोबाइल ब्रॉडबैंड स्पीड में भारत 118 वें स्थान से 43वें स्थान पर पहुंच गया है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार सुनिश्चित कर रही है कि विकास के लाभ प्रत्येक वर्ग और प्रत्येक क्षेत्र तक पहुंचे। श्री मोदी ने कहा कि प्रौद्योगिकी एक विकासशील देश को विकसित बनाने का माध्यम बन सकती है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत का सेमीकंडक्टर मिशन न केवल घरेलू मांग बल्कि वैश्विक मांग भी पूरी करने की ओर अग्रसर है। हाल में गूगल ने भारत में अपना पिक्सल फोन बनाए जाने की घोषणा की है। प्रधानमंत्री ने कहा कि अब विश्व भारत में बने मोबाइल फोन का उपयोग कर रहा है।
इस अवसर पर इलेक्ट्रॉनिकी और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्वनी वैष्णव ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के प्रयासों से पिछले दस वर्षो में दूरसंचार क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव आया है। उन्होंने कहा कि आज का दौर घोटालों और कानूनी अड़चनों से मुक्त दौर है।
उन्होंने कहा कि भारत का दूरसंचार उद्योग तेजी से 5-जी प्रौद्योगिकी अपनाने और सुलभ डेटा के लिए जाना जाता है। श्री वैष्णव ने कहा कि दूरसंचार क्षेत्र के प्रति प्रधानमंत्री का स्पष्ट दृष्टिकोण है क्योंकि यह डिजिटल इंडिया का प्रवेश द्वार है। उन्होने कहा कि पिछले वर्ष 90 हजार करोड रूपये से अधिक के मोबाइल फोन निर्यात किए गए।
समारोह को संबोधित करते हुए रिलायंस जियो इनफोकॉम लिमिटेड के अध्यक्ष आकाश अम्बानी ने नवीनतम प्रौद्योगिकी के माध्यम से युवा पीढी के जीवन में सुधार लाने की प्रधानमंत्री की प्रतिबद्धता की सराहना की।
भारतीय इंटरप्राइजेजस के अध्यक्ष सुनील भारती मित्तल ने डिजिटल इंडिया के प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण का उल्लेख करते हुए कहा कि इससे डिजिटल बुनियादी ढांचे का तेजी से विकास हो रहा है।
आदित्य बिडला ग्रुप के प्रमुख कुमार मंगलम बिडला ने कहा कि भारत प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन में 6-जी जैसी भविष्य की प्रौद्योगिकी के विकास में जुटा है।
कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री ने शिक्षण संस्थाओं को 5-जी यूज केस लैब्स प्रदान किए। इन्हें हंड्रेड 5-जी लैब्स कार्यक्रम के तहत विकसित किया जा रहा है।
यह कार्यक्रम 5-जी अनुप्रयोग को प्रोत्साहन देकर 5-जी प्रौद्योगिकी से जुडे अवसरों का लाभ उठाने का प्रयास है। इससे देश के साथ-साथ वैश्विक आवश्यकताओं की पूर्ति होगी। साथ ही शिक्षा, कृषि, स्वास्थ्य, विद्युत और परिवहन जैसे विभिन्न सामाजिक आर्थिक क्षेत्रों में नवाचार को बढ़ावा मिलेगा।
यह पहल देश में 6-जी प्रौद्योगिकी और स्टार्ट-अप के अनुकूल माहौल बनाने में भी महत्वपूर्ण साबित होगी।