अगरतला, 22 अगस्त: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज सुबह दक्षिण अफ्रीका और ग्रीस की चार दिनों की यात्रा पर रवाना हुए। वे जोहान्सबर्ग में 15वें ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे। दक्षिण अफ्रीका रवाना होने से पहले दिए गए बयान में प्रधानमंत्री ने कहा कि ब्रिक्स शिखर सम्मेलन भविष्य में सहयोग के क्षेत्रों की पहचान और संस्थागत विकास की समीक्षा का महत्वपूर्ण अवसर प्रदान करेगा। उन्होंने कहा कि ब्रिक्स शिखर सम्मेलन के लिए ब्रिक्स विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग के मजबूत एजेंडे को बढावा दे रहा है। श्री मोदी ने कहा कि भारत विकास के लिए आवश्यक मुद्दों और बहुपक्षीय प्रणाली में सुधार सहित विकासशील और अल्पविकसित देशों के लिए आवश्यक मुद्दों पर विचार विमर्श के उचित मंच के रूप में ब्रिक्स को अहमियत देता है। प्रधानमंत्री ने कहा कि वे दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा के निमंत्रण पर ब्रिक्स सम्मेलन में भाग लेने जा रहे हैं। दक्षिण अफ्रीका अभी ब्रिक्स की अध्यक्षता कर रहा है। श्री मोदी ने कहा कि जोहान्सबर्ग में वे ब्रिक्स-अफ्रीका आउटरीच और ब्रिक्स प्लस संवाद कार्यक्रमों में भी भाग लेंगे। यह कार्यक्रम ब्रिक्स शिखर सम्मेलन की गतिविधियों का हिस्सा हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि अपनी यात्रा के दौरान वे वहां आमंत्रित कई अन्य अतिथि देशों के नेताओं से भी मिलेंगे। वे जोहान्सबर्ग में कुछ नेताओं के साथ द्विपक्षीय बैठकें भी करेंगे।
उन्होंने कहा कि ग्रीस के प्रधानमंत्री काइरियाकोस मितसोताकिस के निमंत्रण पर दक्षिण अफ्रीका से वे एथेंस जाएंगे। श्री मोदी ने कहा कि यह ग्रीस की उनकी पहली यात्रा होगी। प्रधानमंत्री ने कहा कि उन्हें चालीस वर्षों बाद ग्रीस की यात्रा करने वाला पहला भारतीय प्रधानमंत्री होने का गौरव प्राप्त होगा। उन्होंने यह भी कहा कि भारत और ग्रीस की दो सभ्यताओं के बीच संपर्क दो शताब्दियों से अधिक पुराना है। श्री मोदी ने कहा कि आधुनिक युग में दोनों देशों के संबंध लोकतांत्रिक मूल्यों, कानून के राज और विविधता के आधार पर मजबूत हुए हैं। उन्होंने कहा कि व्यापार और निवेश, रक्षा, संस्कृति और लोगों के बीच आपसी संपर्क जैसे विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग के कारण दोनों देश और करीब आ रहे हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि ग्रीस की उनकी यात्रा से दोनों देशों के बहुमुखी संबंधों के नए अध्याय की शुरूआत होगी।