राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ने कहा, हर स्वरूप में आतंकवाद और इसका वित्त पोषण अंतर्राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए अत्यंत गंभीर चुनौती है

नई दिल्ली २९ मार्च : राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल ने आज कहा कि हर स्वरूप में आतंकवाद और इसका वित्त पोषण अंतर्राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए अत्यंत गंभीर चुनौती है। उन्होंने कहा कि आतंकवाद आतंकवाद की कोई भी गतिविधि, चाहे इसके लिए कितना भी उकसावा क्‍यों न हो, सही नहीं ठहराई जा सकती। श्री डोभाल ने नई दिल्ली में भारत द्वारा आयोजित शंघाई सहयोग संगठन के सदस्य देशों के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों की बैठक की अध्यक्षता करते हुए यह बात कही। श्री डोभाल ने कहा कि भारत की अंतर्राष्ट्रीय उत्तर-दक्षिण परिवहन गलियारे के अंतर्गत और इसके ढांचे में चाबहार बंदरगाह को शामिल किए जाने के लिए अपने दायित्व को पूरा करने के प्रति वचनबद्ध है। उन्होंने कहा कि भारत जून 2017 में शंघाई सहयोग संगठन-एससीओ का सदस्य बना था, लेकिन इसके एससीओ से संबंध कई शताब्दियों पहले के हैं। श्री डोभाल ने कहा कि एससीओ साझाा चिंता के मुद्दों का समाधान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। बैठक में मध्य एशिया देशों के उच्च स्तर के प्रतिनिधियों ने व्यक्तिगत रूप से भाग लिया। शंघाई सहयोग संगठन में, चीन, भारत, कजाखस्तान, किर्गिस्तान, रूस, पाकिस्तान, ताजेकिस्तान और उज्बेकिस्तान सदस्य हैं।

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