चीन से आ रही नदियों पर सुरक्षा के लिहाज से लगाएं आवश्यक उपकरण : मंत्री सतपाल महाराज

देहरादून,15 अक्टूबर (हि.स.)। उत्तराखंड के सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज ने शनिवार को एक बैठक में कहा कि सुरक्षा के लिहाज से चीन से आ रही नदियों पर आवश्यक उपकरण लगाए जाएं। इस दौरान मंत्री ने शीघ्रता से नदियों के चैनेलाइजेशन और ड्रेजिंग के कार्य के साथ जमरानी, सौंग बांध परियोजना में प्रभावी कार्रवाई के निर्देश दिए।

सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज शनिवार को यमुना कालोनी स्थित सिंचाई भवन में सिंचाई विभाग की समीक्षा बैठक ले रहे थे। इस दौरान मंत्री ने जमरानी बांध परियोजना को प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के अंतर्गत स्वीकृति के लिए प्रभावी कार्रवाई करने और सौंग बांध परियोजना को “महत्वपूर्ण राष्ट्रीय परियोजना” के अंतर्गत पूंजीगत व्यय के प्रावधान के लिए भारत सरकार से किये गये अनुरोध पर विभागीय स्तर पर आगे की कार्रवाई सुनिश्चित करने की बात कही।

सिंचाई मंत्री ने नेशनल हाइड्रोलॉजी प्रोजेक्ट (एनएचपी) के अंतर्गत लगाए जा रहे उपकरणों को चीन से आ रही नदियों पर सुरक्षा की दृष्टि से लगाए जाने के भी निर्देश दिए। इसके साथ ही उन्होंने भीमताल के बांध सुरक्षा अध्ययन के अनुसार कार्य शीघ्रता से कराए जाने और भीमताल में हो रहे रिसाव को रोकने के लिए तत्काल अध्ययन करने को कहा।

उन्होंने मानसून के दौरान हुई क्षति की सूचना संकलित करते हुए नदियों से होने वाले नुकसान को रोकने के लिए कार्य योजना तैयार बनाने को कहा। साथ ही चैनेलाइजेशन और ड्रेजिंग की आवश्यकता वाले स्थानों को भी तत्काल चिन्हित किया जाए। इस बात का विशेष ध्यान रखा जाए कि पुलों के नीचे किसी भी स्थिति में खनन न हो। उन्होंने वर्ष 2022-23 के लिए विभिन्न मदों में प्रावधानित बजट की स्थिति, निर्माणाधीन योजनाओं की वित्तीय एवं भौतिक प्रगति के साथ-साथ उत्तर प्रदेश-उत्तराखंड राज्य के मध्य सिंचाई विभाग की परिसंपत्तियों के स्थानांतरण संबंधी कार्यों की भी समीक्षा की।

उन्होंने अधिकारियों से कहा कि जमरानी बांध परियोजना को प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के अंतर्गत स्वीकृति के लिए प्रभावी कार्रवाई की जाए। आगामी 18 अक्टूबर को भारत नई दिल्ली में आयोजित बैठक में इसकी स्वीकृति मिलनी प्रस्तावित है। सौंग बांध परियोजना को “महत्वपूर्ण राष्ट्रीय परियोजना” के अंतर्गत 1774.00 करोड़ पूंजीगत व्यय के प्रावधान के लिए केन्द्र से अनुरोध पर विभागीय स्तर पर आगे की कार्रवाई सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए।

मंत्री महाराज ने समीक्षा बैठक में विभागीय अधिकारियों को कहा कि नई तकनीकों की जानकारी के आदान-प्रदान के लिए सभी तकनीकी विभागों की ओर से एक सेमिनार आयोजित किया जाए। उन्होंने नदियों के चैनेलाइजेशन एवं ड्रेजिंग के कार्य को प्राथमिकता पर कराए जाने व संदेश संवेदनशील क्षेत्रों को चिन्हित करते हुए उनकी छोटी-छोटी फिल्में तैयार करने के भी आदेश विभागीय अधिकारियों को दिए। उन्होंने विभाग में रिक्त पदों को भरने के लिए शीघ्र कार्यवाही किए जाने के साथ-साथ नहर व नलकूपों के लिए आवश्यक सींचपाल एवं नलकूप चालकों के पदों हेतु प्रस्ताव उपलब्ध कराने के भी अधिकारियों को निर्देश दिए।

बैठक में अपर सचिव उमेश नारायण पांडे, संयुक्त सचिव जे.एल. शर्मा, प्रमुख अभियंता दिनेश चंद्रा, मुख्य अभियंता जयपाल सिंह सहित सभी जनपदों के सिंचाई अधिकारी मौजूद रहे।

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