राजनाथ सिंह ने भारत डायनामिक्स लिमिटेड, भानुर में नई विनिर्माण सुविधाएं राष्ट्र को समर्पित कीं
– युद्ध में प्रौद्योगिकी के बढ़ते महत्व को देखते हुए नए उत्पाद और प्रणाली विकसित करने का आह्वान
नई दिल्ली, 02 जुलाई (हि.स.)। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शनिवार को तेलंगाना में भारत डायनामिक्स लिमिटेड (बीडीएल) की भानुर इकाई का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम (डीपीएसयू) की कई नई विनिर्माण सुविधाएं राष्ट्र को समर्पित कीं। इसमें भानुर यूनिट में वारहेड सुविधा और कंचनबाग यूनिट में रेडियो फ्रीक्वेंसी (आरएफ) सीकर सुविधा शामिल है। इस सुविधा का उपयोग भविष्य की सभी मिसाइलों में लक्ष्य ट्रैकिंग के लिए किया जाएगा जिसे बीडीएल ने 50 करोड़ रुपये के निवेश से स्थापित किया है।
रक्षा मंत्री ने बीडीएल के शोधकर्ताओं, इंजीनियरों, तकनीशियनों और अन्य कर्मियों को संबोधित करते हुए ‘मेक इन इंडिया, मेक फॉर द वर्ल्ड’ विजन के अनुरूप विदेशी कंपनियों के सहयोग से स्वदेशी उत्पादों का निर्माण करके आत्मनिर्भरता के प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण अपनाने को सराहा। उन्होंने अगले पांच वर्षों के लिए स्वदेशीकरण योजना तैयार करने और पहले दो वर्षों का लक्ष्य हासिल करने के लिएबीडीएल को बधाई दी। राजनाथ सिंह ने उन्होंने उम्मीद जताई कि मिसाइल उत्पादन के क्षेत्र में भारत को ‘आत्मनिर्भर’ बनाने में यह कंपनी बड़ी भूमिका निभाएगी। राजनाथ सिंह ने विश्वास व्यक्त किया कि वारहेड सुविधा भविष्य के हथियारों के निर्माण के दायरे में विविधता लाएगी और इस सुविधा का उपयोग इसकी वर्तमान और भविष्य दोनों मिसाइलों के लिए किया जाएगा।
रक्षा मंत्री ने बीडीएल की विशाखापत्तनम इकाई में केंद्रीय भंडारण सुविधा का भी उद्घाटन किया। इस अत्याधुनिक सुविधा में वर्टिकल कैरोसेल सिस्टम, मैकेनिकल कॉम्पेक्टर और मोटराइज्ड कॉम्पेक्टर शामिल हैं। इस सुविधा का निर्माण 4.90 करोड़ रुपये के निवेश से किया गया है। उन्होंने पश्चिम गोदावरी जिले के सैन्य माधवरम गांव में बहुउद्देशीय सामुदायिक हॉल, व्यायामशाला, सरकारी जूनियर कॉलेज में विज्ञान प्रयोगशालाएं, जिला परिषद स्कूल में नौ अतिरिक्त क्लास रूम, प्राथमिक विद्यालय में दो अतिरिक्त क्लास रूम का भी उद्घाटन किया। बीडीएल ने इस गांव को अपनाकर 4.5 करोड़ रुपये की लागत से बुनियादी ढांचे का निर्माण किया है। बीडीएल परिसर में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की एक प्रतिमा का भी अनावरण किया गया।
रक्षा क्षेत्र में बाधाओं को दूर करने और परिवर्तनकारी सुधार लाने के लिए सरकार की अटूट प्रतिबद्धता को व्यक्त करते हुए राजनाथ सिंह ने जोर देकर कहा कि सशस्त्र बलों को चुस्त, फिट, आधुनिक और विश्व स्तरीय रक्षा सेवा बनाना हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने अग्निपथ योजना को क्रांतिकारी सुधार बताया जो देश और सशस्त्र बलों और युवाओं के हित में है। उन्होंने कहा कि कई देशों की रक्षा प्रणालियों का अध्ययन करने के बाद अपनी जमीनी हकीकत के साथ जोड़कर इस योजना को अंतिम रूप दिया गया है। भारतीय वायु सेना को अग्निपथ योजना के तहत बड़ी संख्या में आवेदन मिले हैं। सेना और नौसेना में भी इसी तरह हमारे युवाओं को आगे आकर देश की सेवा के इस सुनहरे अवसर का लाभ उठाना चाहिए।