प्रशांत क्षेत्र में भारत रक्षा और सुरक्षा सहयोग स्थिरता का एक महत्वपूर्ण कारक
– पूर्व राष्ट्रपति हो ची मिन्ह की समाधि पर पुष्पांजलि अर्पित करके श्रद्धांजलि दी
नई दिल्ली, 08 जून (हि.स.)। वियतनाम की यात्रा पर गए रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने भारत के साथ द्विपक्षीय रक्षा संबंधों और वैश्विक मुद्दों को आगे बढ़ाने के लिए चर्चा की। तीन दिवसीय यात्रा के पहले दिन भारत-वियतनाम रक्षा साझेदारी पर संयुक्त ”विजन स्टेटमेंट” पर हस्ताक्षर किए गए।
रक्षा मंत्री ने हनोई में वियतनाम के राष्ट्रीय रक्षा मंत्री जनरल फान वान गियांग के साथ द्विपक्षीय बैठक की। इसके बाद राजनाथ सिंह ने ट्वीट करके कहा कि वियतनाम के रक्षा मंत्री जनरल फान वान गियांग के साथ एक उत्कृष्ट बैठक हुई। हमने द्विपक्षीय सहयोग के विस्तार पर बातचीत का नवीनीकरण किया। प्रशांत क्षेत्र में भारत रक्षा और सुरक्षा सहयोग स्थिरता का एक महत्वपूर्ण कारक है।
उन्होंने कहा कि हमने द्विपक्षीय रक्षा संबंधों और क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों को आगे बढ़ाने के लिए प्रभावी और व्यावहारिक पहल पर व्यापक चर्चा की। विचार-विमर्श के बाद हमने भारत-वियतनाम रक्षा साझेदारी पर संयुक्त ”विजन स्टेटमेंट” पर हस्ताक्षर किए, जो हमारे रक्षा सहयोग के दायरे और पैमाने को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाएगा।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने हनोई में वियतनाम के प्रथम राष्ट्रपति हो ची मिन्ह को उनकी समाधि स्थल पर पुष्पांजलि अर्पित करके श्रद्धांजलि दी। वियतनाम के राष्ट्रीय रक्षा मंत्रालय मुख्यालय में राजनाथ सिंह को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। राजनाथ सिंह वियतनाम के रक्षा मंत्री जनरल फान वान गियांग के निमंत्रण पर तीन दिवसीय यात्रा पर गए हैं।
वियतनाम की यात्रा पर रवाना होने से पहले रक्षामंत्री सिंह ने ट्वीट करके कहा था- ‘मैं भारत के साथ रक्षा सहयोग को और गहरा करने के लिए वियतनाम के राष्ट्रपति गुयेन जुआन फुक और प्रधान मंत्री फाम मिन्ह चिन से मिलने के लिए भी उत्सुक हूं। भारत और वियतनाम एक व्यापक रणनीतिक साझेदारी साझा करते हैं और रक्षा सहयोग इस साझेदारी का एक प्रमुख स्तंभ है। वियतनाम भारत की एक्ट ईस्ट नीति और इंडो-पैसिफिक विजन में एक महत्वपूर्ण भागीदार है। भारत और वियतनाम के बीच रक्षा संबंधों को और मजबूत करने के लिए तत्पर हैं।’