नई दिल्ली, 17 मई (हि.स.)। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को उच्च स्तरीय बैठक कर जम्मू-कश्मीर के सुरक्षा हालात की समीक्षा की। इसके अलावा बैठक में अमरनाथ यात्रा से जुड़ी तैयारियों पर भी चर्चा की गई। यह समीक्षा बैठक ऐसे समय में हो रही है जब जम्मू कश्मीर में कश्मीरी हिंदुओं को निशाना बनाकर हमले किए जा रहे हैं।
इस उच्च स्तरीय बैठक में जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल, केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला, सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारी, जम्मू-कश्मीर के मुख्य सचिव और केंद्र सरकार के विभिन्न मंत्रालयों व विभागों के वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए। बैठक में आगामी 30 जून से होने वाली अमरनाथ यात्रा से जुड़ी तैयारियों की भी जानकारी ली गई।
उल्लेखनीय है कि 12 मई को आतंकियों ने सरकारी कर्मचारी राहुल भट्ट की बड़गांव में उनके ऑफिस के भीतर हत्या कर दी थी। इसके अगले दिन पुलिस कॉन्स्टेबल रियाज अहमद की भी पुलवामा जिले में उनके घर पर हत्या कर दी गई थी।
वहीं गृह मंत्रालय के अनुसार, “केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आज नई दिल्ली में एक उच्चस्तरीय बैठक में अमरनाथ यात्रा की तैयारियों की समीक्षा की।
मंत्रालय के अनुसार केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि अमरनाथ यात्रियों के आवागमन, ठहरने, बिजली, पानी, संचार और स्वास्थ्य समेत सभी आवश्यक सुविधाओं की पर्याप्त व्यवस्था करने के निर्देश दिये। गृह मंत्री ने कहा कि यात्रा मार्ग में बेहतर संचार और किसी भी सूचना के प्रसार के लिए मोबाइल टावर बढ़ाये जाएं, साथ ही भूस्खलन होने की स्थिति में मार्ग तुरंत खोलने के लिए मशीनें तैनात करने के निर्देश भी दिये।
अमित शाह ने पर्याप्त संख्या में ऑक्सीजन सिलेंडर सुनिश्चित करने के साथ ही 6000 फीट से अधिक की ऊंचाई पर पर्याप्त चिकित्सा बेड और किसी भी आपात चिकित्सा स्थिति से निपटने के लिए एम्ब्युलेन्स तथा हेलीकाप्टर तैनात करने को भी कहा। उन्होंने कहा कि यात्रियों की सुविधा के लिए अमरनाथ यात्रा के दौरान सभी तरह की परिवहन सेवाएं बढाई जानी चाहिए।
बैठक में जम्मू कश्मीर के मुख्य सचिव ने कहा कि पहली बार हर अमरनाथ यात्री को एक आरआईएफडी कार्ड दिया जाएगा और पांच लाख रुपये का बीमा करवाया जाएगा। यात्रा के लिए टेंट सिटी, यात्रा मार्ग पर वाईफाई हॉटस्पॉट और समुचित प्रकाश की व्यवस्था की जाएगी। साथ ही बाबा बर्फानी के ऑनलाइन लाइव दर्शन, पवित्र अमरनाथ गुफा में सुबह और शाम की आरती का सीधा प्रसारण और बेस कैंप में धार्मिक व सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा।