नई दिल्ली, 17 मई (हि.स.)। भारतीय बाजार में आज लगातार दूसरे दिन सोना 50,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर को पार करके कारोबार करता हुआ नजर आ रहा है। आज भारतीय बाजार में सोने में जहां तेजी का रुख है, वहीं चांदी गिरावट के साथ कारोबार करता दिख रहा है।
मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (एमसीएक्स) में गोल्ड फ्यूचर 0.17 प्रतिशत मजबूत होकर 50,331 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर कारोबार कर रहा है। सिल्वर फ्यूचर में 0.16 प्रतिशत गिरावट बनी हुई है। फिलहाल चांदी 60,831 रुपये प्रति किलोग्राम के भाव पर कारोबार कर रहा है। इसके पहले सोमवार को हुए कारोबार में सोना 0.8 प्रतिशत की मजबूती के साथ बंद हुआ था, जबकि चांदी में करीब 3 प्रतिशत की तेजी दर्ज की गई थी।
मार्केट एक्सपर्ट मयंक मोहन के मुताबिक वैश्विक बाजार में सोने के प्रति निवेशकों का रुझान बढ़ा है। 1800 डॉलर प्रति औंस के आसपास निवेशक सोने की खरीद करना पसंद कर रहे हैं। इसकी एक बड़ी वजह डॉलर इंडेक्स में आई तात्कालिक कमजोरी भी है। डॉलर इंडेक्स कल 20 साल की ऊंचाई से फिसलने के बाद आज कमोबेश स्थिर बना हुआ है। डॉलर की कमजोरी होने पर दूसरी वैश्विक मुद्राओं में कारोबार करने वाले निवेशकों के लिए सोना में निवेश करना हमेशा ही आकर्षक होता है। इसके साथ ही पारंपरिक तौर पर आर्थिक संकट के दौरान सोने में किये गये निवेश को सबसे सुरक्षित निवेश माना जाता है।
सोना सोमवार के कारोबार में एक बार 3 महीने के सबसे निचले स्तर पर पहुंच गया था। हालांकि बाद में ट्रेजरी यील्ड्स में आई गिरावट के कारण सोने में दोबारा तेजी लौट गई। इसी तरह चांदी भी हाल के निचले स्तर से उबर गई है।
मयंक मोहन का मानना है कि कोरोना संक्रमण के कारण चीन का बुलियन मार्केट पूरी तरह से बंद होने की वजह से भी सोना और चांदी की कीमत पर सबसे ज्यादा नकारात्मक असर पड़ा है। अब उम्मीद की जा रही है कि चीन का बुलियन मार्केट दोबारा पुरानी स्पीड पर काम करना शुरू कर देगा। ऐसा होने से सोना और चांदी समेत सभी कमोडिटी की डिमांड बढ़ेगी, जिससे इनके भाव में भी तेजी आएगी। बाजार के एक्सपर्ट्स का कहना है कि छोटी अवधि के लिए बुलियन मार्केट में निवेश करना फायदे का सौदा हो सकता है, लेकिन ये निवेश उठते बाजार में करने की बजाय हर गिरावट पर थोड़ी थोड़ी मात्रा में विशेषज्ञों की सलाह लेकर करना चाहिए।