Narendra Modi : सिख समुदाय के योगदान के लिए देश कृतज्ञता अनुभव करता हैः प्रधानमंत्री मोदी

नई दिल्ली, 29 अप्रैल (हि.स.)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि आजादी की लड़ाई और उसके बाद भी सिख समाज के देश के लिए योगदान को लेकर पूरा भारत कृतज्ञता अनुभव करता है। उन्होंने कहा कि नया भारत नए आयामों को छू रहा है, पूरी दुनिया पर अपनी छाप छोड़ रहा है। उन्होंने विदेशों में बसे भारतीय सिख समुदाय को भारत का राजदूत बताया।

प्रधानमंत्री ने अपने आधिकारिक आवास 7 लोक कल्याण मार्ग पर सिख समुदाय के प्रतिनिधियों को संबोधित करते हुए कहा कि गुरु नानकदेव जी ने पूरे राष्ट्र की चेतना को जगाया था और अंधकार से निकालकर प्रकाश की राह दिखाई थी। उन्होंने कहा कि हमारे गुरुओं ने पूरब से पश्चिम, उत्तर से दक्षिण पूरे भारत की यात्राएं कीं, हर कहीं उनकी निशानियां हैं, उनकी प्रेरणाएं हैं, उनके लिए आस्था है। महाराजा रणजीत सिंह का योगदान हो, अंग्रेजों के खिलाफ लड़ाई हो या जलियांवाला बाग। इनके बिना न भारत का इतिहास पूरा होता है और न हिंदुस्तान पूरा होता है।

मोदी ने कहा कि गुरुद्वारों में जाना, सेवा में समय देना, लंगर पाना, सिख परिवारों के घरों पर रहना ये उनके जीवन का एक बहुत बड़ा स्वाभाविक हिस्सा रहा है।

उन्होंने कहा कि हमारे गुरुओं ने हमें साहस और सेवा की सीख दी है।दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में बिना किसी संसाधन के हमारे भारत के लोग गए और अपने श्रम से सफलता के मुकाम हासिल किए।

यही स्पिरिट (जोश) आज नए भारत की स्पिरिट बन गई है। मोदी ने कहा कि भारतीय सिख समुदाय को तो वे हमेशा से भारत का राजदूत मानते रहे हैं।आप सभी भारत से बाहर, मां भारती की बुलंद आवाज हैं, बुलंद पहचान हैं।

उन्होंने कहा कि आज नया भारत नए आयामों को छू रहा है, पूरी दुनिया पर अपनी छाप छोड़ रहा है। कोरोना महामारी का ये कालखंड इसका सबसे बड़ा उदाहरण है। महामारी की शुरुआत में पुरानी सोच वाले लोग भारत को लेकर चिंताएं जाहिर कर रहे थे। लेकिन, अब लोग भारत का उदाहरण दे रहे हैं। भारत की प्रगति देखकर सिख समुदाय का भी सीना चौड़ा होता है, सिर गर्व से ऊंचा होता है।

प्रधानमंत्री मोदी ने आगे कहा कि लंगर को टैक्स फ्री करने से लेकर, हरमिंदर साहिब को एफसीआरए की अनुमति तक, गुरुद्वारों के आसपास स्वच्छता बढ़ाने से लेकर उन्हें बेहतर इन्फ्रास्ट्रक्चर से जोड़ने तक, देश आज हर संभव प्रयास कर रहा है। इसी कालखंड में करतारपुर साहिब कॉरिडॉर का निर्माण भी हुआ।

उन्होंने कहा कि आजादी के अमृत काल में आज यही देश का भी संकल्प है। हमें आत्मनिर्भर बनना है, गरीब से गरीब व्यक्ति का जीवन बेहतर करना है।

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