नई दिल्ली, 08 अप्रैल (हि.स.)। अर्थव्यवस्था के र्मोचे पर अच्छी खबर है। देश में कुल कर संग्रह 31 मार्च, 2022 को समाप्त वित्त वर्ष 2021-22 में रिकॉर्ड 27.07 लाख करोड़ रुपये रहा। राजस्व सचिव तरूण बजाज ने शुक्रवार को यहां आयोजित एक प्रेस कांफ्रेंस में यह जानकारी दी।
तरूण बजाज ने बताया कि सकल कर संग्रह एक अप्रैल, 2021 से 31 मार्च, 2022 के बीच 27.07 लाख करोड़ रुपये रहा है, जबकि बजट में अनुमान 22.17 लाख करोड़ रुपये का था। इस दौरान प्रत्यक्ष कर संग्रह 49 फीसदी उछलकर 14.10 लाख करोड़ रुपये रहा, जो बजट अनुमान से 3.02 लाख करोड़ रुपये ज्यादा है। प्रत्यक्ष कर के तहत व्यक्तिगत आयकर और कंपनी कर आता है।
राजस्व सचिव ने कहा कि वित्त वर्ष 2021-22 में उत्पाद शुल्क और सीमा शुल्क समेत अप्रत्यक्ष कर संग्रह 30 फीसदी बढ़कर 12.90 लाख करोड़ रुपये रहा, जो बजट अनुमान से 1.88 लाख करोड़ रुपये ज्यादा है। बजट में अप्रत्यक्ष कर संग्रह 11.02 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान जताया गया था। बजाज ने कहा कि प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष कर संग्रह में उछाल से कुल संग्रह में ये बढ़ोतरी हुई है।
इसके अलावा वित्त वर्ष 2021-22 में कर और सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) अनुपात उछलकर 11.7 फीसदी पर पहुंच गया, जो वित्त वर्ष 2020-21 में 10.3 फीसदी था। बता दें कि यह वर्ष 1999 के बाद से सबसे ज्यादा है।