नई दिल्ली, 02 मार्च (हि.स.)। प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना में बालिका शिशु को प्रोत्साहन देने के लिए अब दूसरी बच्ची के जन्म पर भी इस योजना का लाभ लिया जा सकेगा। इस योजना में तीन किस्तों में महिलाओं को 6000 रुपये की सहायता दी जाती है। प्रधानमंत्री ने 17 जनवरी 2017 को यह योजना शुरू की थी। अब मंत्रालय ने योजना में बदलाव किया है। अब गर्भवती और स्तनपान कराने वाली मां एक बार और इस योजना का लाभ ले सकती है। इसके लिए दूसरी संतान का बालिका होना अनिवार्य है।
केंद्र सरकार ने यह कदम बालिकाओं के जन्म को प्रोत्साहित करने के लिए उठाया है। नया नियम आगामी 1 अप्रैल से लागू होगा। सरकार ने अपनी सभी योजनाओं को एकीकृत कर दिया है। 1 अप्रैल से सरकार की सभी योजनाएं मिशन शक्ति, मिशन वत्सल, सक्षम आंगनवाड़ी के नाम से नए कलेवर के साथ लागू होंगी। इस योजना के बारे में जानकारी देते हुए महिला एवं बाल विकास के सचिव इंदीवर पांडे ने बताया कि संशोधन करके योजना को अधिक प्रभावी और सक्षम बनाया गया है। केंद्र सरकार इस योजना में तीन किस्तों में धनराशि का भुगतान किया जाता है।
इंदीवर पांडे ने बताया कि मंत्रालय की योजना आने वाले समय में इस राशि में बढ़ोतरी करने की है। इससे गर्भवती और स्तनपान कराने वाले महिलाओं को अधिक पैसा मिलने से देखभाल में आसानी हो सकेगी। इसके तहत मिलने वाली राशि को बढ़ाने के साथ इसे तीन के बजाए दो किस्त में किया जा सकता है। तीन किस्तों में मिलने वाली राशि में पहली किस्त आवेदन पर और दूसरी किस्त संतान के जन्म और तीसरी किस्त टीकाकरण के दौरान दी जाती है। मंत्रालय ने इसका लाभ घर बैठे उपलब्ध कराने के लिए पिछले दिनों उमंग ऐप भी लांच किया था। इसकी मदद से घर बैठे महिलाएं पंजीकरण कराएं और रकम सीधे उनके खाते में जाएगी। इसके पीछे सरकार का मकसद गर्भवती और स्तनपान कराने वाली मां को दफ्तरों की दौड़ से मुक्त कराना है।